शुक्रवार, 15 नवंबर 2024

ज्ञानपीठ केन्द्र में गुरु नानक देव जी महाराज” का “प्रकटोत्सव” उल्लासपूर्वक मनाया गया


मुकेश गुप्ता

गाजियाबाद/साहिबाबाद । 15 नवम्बर को लोक शिक्षण अभियान ट्रस्ट द्वारा ज्ञानपीठ केन्द्र 1, स्वरुप पार्क जी0 टी0 रोड साहिबाबाद के प्रांगण में “गुरु नानक देव जी महाराज” का “प्रकटोत्सव” उल्लासपूर्वक मनाया गया, समरोह की अध्यक्षता अमर जीत सिंह कलिंगा मूर्धन्य लेखक ने किया, मुख्य अतिथि प्रो0 पी० के० सिंह रहे, आयोजन इंजी० धीरेन्द्र यादव ने, सञ्चालन श्रमिक नेता अनिल मिश्र ने किया, विशिष्ट अतिथि पर्यावरण विद कालीचरण चौधरी, समाजवादी नेता अजय रस्तोगी, पंडित विनोद त्रिपाठी, जय नारायण शर्मा, सरदार योगेन्द्र सिंह ने भी समारोह को संबोधित किया, इस अवसर पर कामेश्वर चौधरी पूर्व मेजर, सी० पी० सिंह, देवकर्ण चौहान, सरदार मंजीत सिंह कलिंगा, तरविंदर सिंह का स्वागत कर सरोपा भेंट किया गया, इस कार्यक्रम में स्वतंत्रता सेनानी शहीद विरसा मुंडा को भी श्रद्धा-सुमन अर्पित किया गया, और गंगा स्नान पर सभी का अभिनन्दन किया गया।

  कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शिक्षाविद राम दुलार यादव ने कहा कि गुरु नानक देव जी महाराज ने अज्ञान के अन्धकार के समूल नाश का सन्देश दिया। उनका कहना था कर्म करो जो नैतिकता पर आधारित हो, और नेक कमाई को मिल बांटकर खाओ, उन्होंने मानवता के कल्याण के लिए पाखंड, रुढ़िवाद, कुरीतियों से दूर रहने का आह्वान किया, सभी धर्म और मानव बराबर है, कोई बड़ा, छोटा नहीं है, “एक नूर से सब जग उपजै, कवन भले, कौन मंदे” उनका कहना था एक ही ईश्वर, एक ओंकार सतनाम और सब झूठ और मानसिक गुलाम बनाने के कर्मकांड है, वह मूर्ति पूजा के विरोधी, तीर्थ, व्रत का खंडन करते हुए मन के मैल को धोने के पक्षधर रहे, उनका स्वर्ग, नरक में बिल्कुल विश्वास नहीं, सद्कर्म, नैतिक आचरण, प्रेम, सद्भाव, भाईचारा में अटूट विश्वास था, तथा सभी को प्रेरणा देते रहे, कि नफ़रत, ईर्ष्या न कर असहिष्णुता का समूल नाश कर दया, प्रेम और करुणा के मार्ग से ही मानवता का कल्याण होगा, हमें उनके बताये रास्ते पर चलने का संकल्प लेना चाहिए| लंगर की व्यवस्था जो उन्होंने की थी वह आज भी समाज में भाईचारा का सन्देश देती है।

       इस अवसर पर राजेन्द्र सिंह, हुकुम सिंह ने गीत प्रस्तुत किया, अजय रस्तोगी एडवोकेट ने कविता के माध्यम से गुरु नानक जी के सन्देश को जन-जन में पहुँचाने के लिए लोगों को प्रेरित किया।

       कार्यक्रम में शामिल रहे, राम दुलार यादव, पी० के० सिंह, जय नारायण शर्मा, अजय रस्तोगी, विश्व नाथ यादव, राजेन्द्र सिंह, हुकुम सिंह, परमानन्द, अमर जीत सिंह, कली चरण, तरविंदर सिंह, राजपाल यादव, मुनीव यादव, राम सहाय, जे०पी० यादव, ब्रह्म प्रकाश, आमोज सिंह, देवकर्ण चौहान, आकाश कुमार, अनिल मिश्र, कामेश्वर चौधरी, योगेन्द्र सिंह, देव मन यादव, महेन्द्र यादव, जय प्रकाश यादव, सम्राट सिंह, राम नयन यादव, विजय मिश्र, विजय भाटी एडवोकेट, अखिलेश कुमार शुक्ल, गुड्डू यादव, राम यादव, आदि सैकड़ों लोग कार्यक्रम में हिस्सा ले, सद्मार्ग पर चलने का संकल्प लिया।


                                                                                                    


                                                                                               

                                                                                              

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